विपक्षी सांसदों ने श्रम संहिताओं के खिलाफ संसद परिसर में प्रदर्शन किया….
विपक्षी सांसदों ने श्रम संहिताओं के खिलाफ संसद परिसर में प्रदर्शन किया….

नई दिल्ली, 03 दिसंबर । विपक्षी गठबंधन ‘इंडिया’ (इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस) के कई घटक दलों के सांसदों ने हाल ही में लागू चार श्रम संहिताओं के खिलाफ बुधवार को संसद परिसर में प्रदर्शन किया और इन्हें वापस लेने की मांग की।
विपक्षी सांसद संसद के ‘मकर द्वार’ के निकट एकत्र हुए और इन संहिताओं एवं सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। उन्होंने हाथों में तख्तियां लेकर ‘मजदूर विरोधी कानून वापस लो’ के नारे लगाए।
कांग्रेस संसदीय दल की प्रमुख सोनिया गांधी, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी और कुछ अन्य दलों के प्रमुख नेता इस विरोध प्रदर्शन में शामिल हुए।
केंद्र ने बीते 21 नवंबर को 2020 से लंबित चार श्रम संहिताओं को लागू कर दिया, जिनमें सभी के लिए समय पर न्यूनतम वेतन और सार्वभौमिक सामाजिक सुरक्षा जैसे श्रमिक-अनुकूल उपायों को शामिल किया गया है, जिसमें गिग श्रमिक और प्लेटफॉर्म श्रमिक भी शामिल हैं। वहीं, लंबे समय तक काम करने के घंटे, व्यापक निश्चित अवधि के रोजगार और नियोक्ता के अनुकूल छंटनी के नियमों की अनुमति भी दी गई है।
‘गिग वर्कर्स’ उन श्रमिकों को कहा जाता है जिनका काम अस्थायी होता है। प्लेटफ़ॉर्म श्रमिक वे व्यक्ति हैं जो ऑनलाइन या डिजिटल प्लेटफ़ॉर्म (जैसे ऐप या वेबसाइट) के माध्यम से सेवाएं प्रदान करते हैं, जैसे कि ओला, उबर, स्विगी या ज़ोमैटो के ड्राइवर और डिलीवरी एजेंट। ये श्रमिक पारंपरिक रोजगार अनुबंधों के तहत नहीं होते और अक्सर गिग इकोनॉमी का हिस्सा होते हैं।
दीदार ए हिन्द की रीपोर्ट



