सबरीमाला सोना चोरी केस: पंकज भंडारी और गोवर्धनन को 14 दिन की न्यायिक हिरासत
सबरीमाला सोना चोरी केस: पंकज भंडारी और गोवर्धनन को 14 दिन की न्यायिक हिरासत

केरल, 20 दिसंबर सबरीमाला सोना चोरी मामले में पुलिस की स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (एसआईटी) ने मामले में अहम भूमिका निभाने वाले स्मार्ट क्रिएशन कंपनी के सीईओ पंकज भंडारी और बेलारी के ज्वेलरी कारोबारी गोवर्धनन को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया, जहां दोनों को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है।
दोनों आरोपियों को शुक्रवार रात कोल्लम में मजिस्ट्रेट के सामने पेश किया गया था। जांच एजेंसियों के अनुसार, पंकज भंडारी की कंपनी ने सबरीमाला के द्वारपालक शिल्प से निकाले गए सोने को अलग करने का काम किया, जबकि अलग किया गया सोना गोवर्धनन ने खरीदा।
इस मामले में अब तक कुल 9 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है। एसआईटी की ताजा कार्रवाई हाई कोर्ट की सख्त टिप्पणियों के बाद तेज हुई, जिसमें अदालत ने जांच में देरी और चुनिंदा कार्रवाई पर तीखी आलोचना की थी।
एसआईटी की जांच के अनुसार, द्वारपालक मूर्तियों पर जड़ी सोने की प्लेटों को पहले निकालकर चेन्नई भेजा गया, जहां उन्हें स्मार्ट क्रिएशन के पास पहुंचाया गया। वहीं पर सोने को अलग कर शुद्ध किया गया, जिसके बाद उसे एक बिचौलिए कल्पेश के जरिए गोवर्धनन को बेच दिया गया।
जांच के दौरान पहले बेलारी में सबूत जुटाने गई एसआईटी ने गोवर्धनन की दुकान से 800 ग्राम से अधिक सोना बरामद किया था। जांचकर्ताओं ने कोर्ट को बताया कि स्मार्ट क्रिएशन्स ने शुरू में पूरी तरह से असहयोग दिखाया। कंपनी के अधिकारियों ने बार-बार दावा किया कि रिकॉर्ड फैक्ट्री में आग लगने से नष्ट हो गए थे और केवल एक एक्सेल शीट दी, जिसमें कहा गया था कि सोने की प्लेटें 29 अगस्त को आई थीं। कोर्ट को यह भी बताया गया कि जांचकर्ताओं द्वारा मांगे गए रजिस्टर को लेकर बताया गया कि वो नष्ट हो गए, जिससे जानबूझकर छिपाने का संदेह और मजबूत हुआ।
भंडारी ने शुरू में जांचकर्ताओं और अदालत को बताया था कि उनकी फर्म केवल शुद्ध धातु की चादरों पर सोने की प्लेटिंग करती है, न कि सोने की प्लेटेड चीजों पर, यह दावा बाद में जांच के दौरान गलत साबित हुआ। उनके बयान के बाद उन्हें तिरुवनंतपुरम बुलाया गया और औपचारिक रूप से गिरफ्तार किया गया।
दीदार ए हिन्द की रीपोर्ट


