भारत-चीन संबंधों में नरमी से शेयर बाजार को राहत

भारत-चीन संबंधों में नरमी से शेयर बाजार को राहत

-टैक्स कटौती और ब्याज दरों की उम्मीद से निवेशकों में भरोसा

नई ‎दिल्ली, 07 सितंबर । भारत और चीन के बीच रिश्तों में नरमी का असर भारतीय शेयर बाजार पर सकारात्मक रूप में देखा जा रहा है। 31 अगस्त को चीन के तियानजिन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के बीच प्रतीकात्मक हैंडशेक और बातचीत से निवेशकों में उम्मीद जगी है कि दोनों देशों के व्यापारिक संबंधों में अब सुधार संभव है। मुलाकात के दौरान सीमा विवाद, सीधी उड़ानों की बहाली और व्यापार बढ़ाने जैसे मुद्दों पर चर्चा हुई। दोनों नेताओं ने प्रतिद्वंद्विता के बजाय सहयोग को प्राथमिकता देने पर सहमति जताई। जानकारों का मानना है कि इससे भारत को निवेश, तकनीक और चीन की क्लीन एनर्जी सप्लाई चेन तक पहुंच के नए अवसर मिल सकते हैं। इसके साथ ही केंद्र सरकार द्वारा हाल ही में की गई टैक्स कटौती और भारतीय रिजर्व बैंक की संभावित ब्याज दरों में कटौती ने भी शेयर बाजार को मजबूती दी है। इन कदमों से अमेरिकी टैरिफ और कमजोर तिमाही नतीजों के असर को संतुलित करने में मदद मिल सकती है। वर्तमान में निफ्टी 50 इस साल अब तक सिर्फ 4.6 फीसदी बढ़ा है, जबकि एमएससीआई इमर्जिंग मार्केट्स इंडेक्स 19 फीसदी ऊपर है। विदेशी निवेशक अब तक भारतीय शेयरों से 16 अरब डॉलर की निकासी कर चुके हैं। विशेषज्ञ मानते हैं कि भारत-चीन रिश्तों में सुधार से भारत की उभरते बाजारों में हिस्सेदारी को फिर से मजबूत किया जा सकता है। हालांकि भारत-चीन व्यापार संतुलन अब भी भारत के खिलाफ है, लेकिन यह नरमी आर्थिक दृष्टिकोण से एक नई शुरुआत का संकेत हो सकती है।

दीदार ए हिन्द की रीपोर्ट

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