नाटो की तरह बने मुस्लिम सैन्य गठबंधन… कतर पर इजरायली हमले के बाद पाकिस्तानी रक्षामंत्री ने की मांग..

नाटो की तरह बने मुस्लिम सैन्य गठबंधन… कतर पर इजरायली हमले के बाद पाकिस्तानी रक्षामंत्री ने की मांग..

इस्लामाबाद, 17 सितंबर । कतर की राजधानी दोहा पर इजरायल के हवाई हमले के बाद मुस्लिम देशों में खौफ फैल गया है। यही वजह है कि अब नाटो की तरह ही इस्लामिक देशों का एक सैन्य गठबंधन बनाने पर जोर दिया जा रहा है, जिसकी मांग पाकिस्तान की तरफ से आई है। पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने इस बारे में खुलकर बात की है। पाकिस्तान के टीवी न्यूज चैनल पर बात करते हुए आसिफ ने कहा कि ‘मेरा ख्याल है कि हमें भी नाटो की तर्ज पर एक मिलिट्री गठबंधन बनाना चाहिए।’ खास बात है कि पाकिस्तान ने हाल ही में अरब देशों की बैठक में भी इस तरह के गठबंधन का जिक्र किया था।

आसिफ ने गठबंधन के बारे में कहा कि यह किसी के खिलाफ नहीं होगा, बल्कि अपनी रक्षा के लिए होगा। उन्होंने बताया कि यह आक्रामक नहीं बल्कि रक्षात्मक डिजाइन के ऊपर होगा। आसिफ ने आगे कहा कि यह उनका हालिया घटनाक्रम के आधार पर अपना नजरिया है। पाकिस्तानी रक्षा मंत्री का बयान सोमवार को दोहा में अरब और इस्लामी नेताओं की आपातकालीन बैठक के बाद आया है, जिसमें 40 से ज्यादा देशों के प्रतिनिधियों ने हिस्सा लिया था।

इस्लामिक देशों की बैठक में सैन्य गठबंधन की चर्चा
कतर पर हमले के बाद चर्चा के लिए बुलाई गई इस बैठक में इस्लामिक देशों के लिए नाटो की तरह सैन्य गठबंधन का विचार सामने आया, जिसका जोरदार स्वागत हुआ। इस बैठक में एकमात्र परमाणु संपन्न मुस्लिम देश पाकिस्तान और उसके दोस्त तुर्की ने भी हिस्सा लिया था। बैठक में पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और विदेश मंत्री इशाक डार भी शामिल हुए थे। इशाक डार ने कहा कि इजरायल को इस्लामिक देशों पर हमला करने और लोगों की हत्या करने की छूट नहीं दी जानी चाहिए।

इस्लामिक नाटो से भारत को खतरा
हालांकि, पाकिस्तान की मौजूदगी वाला अरब-इस्लामिक नाटो बनना भारत के लिए चिंता की वजह बन सकता है। यह चिंता इसलिए जरूरी है क्योंकि पाकिस्तान लंबे समय से बहुपक्षीय गठबंधनों और मंचों का इस्तेमाल भारत के खिलाफ करता रहा है। इसने अपने आर्थिक संकट के दौरान अरब फंडिंग और तकनीक का इस्तेमाल किया है, जबकि इस्लामिक सहयोग संगठन (OIC) जैसे मचों के जरिए कश्मीर जैसे मुद्दे का अंतरराष्ट्रीयकरण किया है।

दीदार ए हिन्द की रीपोर्ट

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