चेन्नई प्लांट का इस्तेमाल फोर्ड इंजन और पार्ट्स के निर्यात के लिए करेगा..

चेन्नई प्लांट का इस्तेमाल फोर्ड इंजन और पार्ट्स के निर्यात के लिए करेगा..

नई दिल्ली, 22 मार्च। अमेरिकी कंपनी फोर्ड अपने चेन्नई स्थित प्लांट का इस्तेमाल इंजन और ऑटोमोबाइल पार्ट्स के निर्माण और निर्यात के लिए करेगी। जानकारी के मुताबिक, फोर्ड ने इस योजना को अंतिम रूप दे दिया है और इसका आधिकारिक ऐलान 2025 की दूसरी तिमाही में किया जाएगा। फोर्ड ने सितंबर 2021 में भारत में अपना कारोबार बंद कर दिया था। इसके बाद से ही चेन्नई के मराईमलाई स्थित प्लांट 2022 से बंद पड़ा है। हाल ही में इस प्लांट को फिर से शुरू करने की चर्चा जोरों पर थी, लेकिन अटकलें लगाई जा रही थीं कि अमेरिका में ट्रम्प सरकार की संभावित नीतियों और भारत में इंपोर्ट ड्यूटी बढ़ाने की योजनाओं के कारण फोर्ड अपनी भारत वापसी की योजना रद्द कर सकता है। हालांकि, भारतीय सरकारी सूत्रों ने स्पष्ट किया है कि कंपनी की योजना अभी भी लागू होगी। फोर्ड ने 1995 में भारत में अपने ऑपरेशंस शुरू किए थे और एक समय पर उसके चेन्नई प्लांट की वार्षिक उत्पादन क्षमता 2 लाख वाहनों की थी, जबकि साणंद प्लांट में 2.4 लाख वाहनों और 2.7 लाख इंजनों का निर्माण किया जाता था। चेन्नई प्लांट में इकोस्पोर्ट और एंडेवर जैसी एसयूवी बनाई जाती थीं, जबकि साणंद प्लांट में एस्पायर और फिगो फ्रीस्टाइल का निर्माण होता था। अब फोर्ड अपनी भारत में मौजूद सुविधाओं का उपयोग नए तरीके से करेगी।

दीदार ए हिन्द की रीपोर्ट

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